चंद्रपुर जिले के सावली तालुका के पारडी गांव स्थित जिला परिषद प्राथमिक विद्यालय में बुधवार को मध्याह्न भोजन के बाद छात्रों की तबीयत बिगड़ गई। कुल 80 छात्र और एक रसोइया को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। घटना के बाद बुधवार शाम को बच्चे घर पहुंचे, लेकिन रात होते-होते उन्हें उल्टी और बेचैनी की शिकायत हुई। इस पर परिजनों ने तुरंत उन्हें निजी अस्पताल में इलाज के लिए पहुंचाया। हालांकि, गुरुवार सुबह दोबारा उनकी तबीयत बिगड़ने लगी, जिसके बाद बच्चों को सावली ग्रामीण अस्पताल में भर्ती कराया गया।
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क्या है विषबाधा का कारण?
स्कूल में बुधवार को दोपहर के भोजन में बच्चों को भिगोए हुए चने परोसे गए थे। बच्चों के घर लौटने के बाद उल्टी और मिचली की शिकायतें सामने आईं। यह जानकारी एक छात्र की मां, नाजुका पाल, ने दी। अनुमान है कि भोजन विषाक्त हो गया था, जिससे विषबाधा हुई।
126 छात्रों में 80 प्रभावित
बुधवार को स्कूल में कुल 126 छात्र उपस्थित थे, जिनमें से 80 छात्रों की तबीयत खराब हुई। इस घटना में एक रसोइया महिला भी प्रभावित हुई हैं, जिनका इलाज जारी है। स्थिति गंभीर देखते हुए कुछ छात्रों को गडचिरोली जिला सामान्य अस्पताल में स्थानांतरित किया जा रहा है।
अधिकारियों की तत्परता
घटना की जानकारी मिलते ही जिला परिषद के मुख्य कार्यपालक अधिकारी विवेक जॉन्सन ने अस्पताल का दौरा कर छात्रों की हालत का जायजा लिया। गटशिक्षणाधिकारी मोरेश्वर बोंडे ने जानकारी दी कि सभी छात्रों की स्थिति अब खतरे से बाहर है।
गांव में आक्रोश
घटना से पूरे पारडी गांव में नाराजगी है। छात्रों की बिगड़ती हालत के कारण अस्पताल में परिजनों और स्थानीय नागरिकों की भारी भीड़ जमा हो गई है।
प्रशासन की अपील
अधिकारियों ने नागरिकों से अपील की है कि घबराएं नहीं, स्थिति पर नजर रखी जा रही है, और प्रभावित छात्रों का सही इलाज किया जा रहा है।
यह घटना विद्यालय में भोजन की गुणवत्ता और सुरक्षा सुनिश्चित करने की दिशा में गंभीर कदम उठाने की आवश्यकता पर बल देती है।