भारी बारिश के कारण चंद्रपुर जिले में 778 गांव प्रभावित हुए हैं और 11,229 हेक्टेयर फसलें नष्ट हो गई हैं। कृषि विभाग ने यह प्रारंभिक अनुमान जताया है। प्रादेशिक मौसम विभाग ने जिले के लिए अभी भी भारी बारिश और सतर्कता की चेतावनी जारी की है।
Whatsapp Channel |
जिला प्रशासन की तत्परता
जिला प्रशासन बाढ़ पीड़ितों की मदद के लिए तत्पर है। जिला कलेक्टर विनय गौड़ा ने तालुका और गांव स्तर पर सरकारी तंत्र को प्रभावित गांवों की समस्याओं का तुरंत समाधान करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने सोमवार, 22 जुलाई को बीस कलमी सभागार में बाढ़ स्थिति की समीक्षा के लिए एक बैठक बुलाई थी।
इस बैठक में मुख्य कार्यकारी अधिकारी विवेक जॉन्सन, जिला पुलिस अधीक्षक मुम्मका सुदर्शन, अतिरिक्त जिला अधिकारी श्रीकांत देशपांडे, निवासी उपजिलाधिकारी संजय पवार, मनपा आयुक्त विपीन पालीवाल, सार्वजनिक निर्माण विभाग के अधीक्षक अभियंता अरुण गाडेगोणे, कार्यकारी अभियंता सुनील कुंभे, मुकेश टांगले, जिला सर्जन डॉ. महादेव चिंचोळे, जिला स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. अशोक कटारे, जिला अधीक्षक कृषि अधिकारी शंकर तोटावार और विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।
सुरक्षा और पुनर्वास के निर्देश
जिलाधिकारी ने कहा कि बाढ़ के पानी से कोई जनहानि न हो, इसकी विशेष सावधानी बरती जाए। क्षतिग्रस्त सड़कों की मरम्मत सार्वजनिक निर्माण विभाग या जिला परिषद निर्माण विभाग द्वारा की जाए। बाढ़ प्रभावित गांवों की पानी टंकियों और बोरवेल्स की मरम्मत कराई जाए ताकि दूषित पेयजल की आपूर्ति न हो। पानी का क्लोरीनेशन किया जाए। तालुका स्वास्थ्य अधिकारियों को बाढ़ प्रभावित गांवों में विशेष शिविरों के माध्यम से नागरिकों की जांच करने के निर्देश दिए गए हैं। सभी सरकारी अधिकारी और कर्मचारी अपने मुख्यालय पर उपस्थित रहें और बाढ़ से प्रभावित गांवों में तालुका स्तर के सभी विभागों की सरकारी मशीनरी पहुंच कर पीड़ितों की समस्याओं का समाधान करें।
इरई बांध के सभी सात दरवाजे खुले
पिछले दो दिनों की भारी बारिश के कारण इरई बांध के जलस्तर में भारी वृद्धि हुई है। इस कारण बांध के सभी सात दरवाजे 1 मीटर तक खुले हुए हैं। बांध का जलस्तर 206.850 दलघमी है। 22 जुलाई की सुबह 8 बजे तक इस बांध में 147.877 दलघमी जलसंचय (85.898 प्रतिशत) था। अब तक बांध क्षेत्र में कुल 736 मिमी बारिश दर्ज की गई है।