- पूर्ण चंद्रग्रहण का दुर्लभ नज़ारा: 7-8 सितंबर 2025 की रात दिखाई देगा ब्लड मून
- 82 मिनट तक टोटलिटी: पूरी तरह लालिमा ओढ़ेगा चांद
- भारत में समय: रात 2:41 बजे से दिखाई देगा ग्रहण का चरम चरण
Eclipse In India आज यानी 7 सितंबर 2025 की रात से 8 सितंबर की सुबह तक आकाश में एक बेहद दुर्लभ और रोमांचक खगोलीय घटना घटेगी। यह घटना होगी पूर्ण चंद्रग्रहण (Total Lunar Eclipse), जिसमें चांद लालिमा लिए हुए ब्लड मून में तब्दील हो जाएगा।
ग्रहण का वैज्ञानिक महत्व
चंद्रग्रहण तब होता है जब पृथ्वी, सूर्य और चंद्रमा के बीच में आ जाती है और उसकी छाया पूरी तरह चांद पर पड़ती है। इस बार चांद पृथ्वी की अम्बरल शैडो (Umbra) में पूरी तरह समा जाएगा। इसी अवस्था को खगोल विज्ञान में टोटलिटी (Totality) कहा जाता है।
ग्रहण का समय और अवधि
- अमेरिकी समय (EDT): ग्रहण का चरम चरण 7 सितंबर को शाम 5:11 बजे पहुंचेगा।
- भारतीय समय (IST): यह समय लगभग 8 सितंबर की सुबह 2:41 बजे होगा।
- टोटलिटी की अवधि: करीब 82 मिनट तक चांद गहरे लाल रंग में दिखाई देगा।
इस दौरान आकाश में चांद का नज़ारा बेहद अनोखा होगा। खगोल वैज्ञानिकों के मुताबिक, यह साल 2025 का सबसे बड़ा और सबसे ज्यादा देर तक चलने वाला चंद्रग्रहण होगा।
भारत में दृश्यता
भारत समेत एशिया के कई हिस्सों में यह पूर्ण चंद्रग्रहण आधी रात के बाद से लेकर सुबह तक साफ तौर पर देखा जा सकेगा। मौसम साफ रहा तो भारत के लोग इसे बिना दूरबीन के भी खुली आंखों से देख पाएंगे।
क्या है ब्लड मून?
जब सूर्य की किरणें पृथ्वी के वायुमंडल से होकर गुजरती हैं तो नीली रोशनी छितरा जाती है और केवल लाल रंग की किरणें चंद्रमा तक पहुंचती हैं। नतीजतन चांद पर गहरी लालिमा छा जाती है, जिसे आम भाषा में ब्लड मून कहा जाता है।
यह खगोलीय नज़ारा वैज्ञानिकों और आम लोगों दोनों के लिए खास है। अगली बार इतना लंबा पूर्ण चंद्रग्रहण कई वर्षों बाद देखने को मिलेगा। इसलिए खगोल प्रेमियों के लिए यह एक “स्काई शो” है जिसे मिस करना मुश्किल होगा।
