जम्मू-कश्मीर के प्रमुख पर्यटन स्थल पहलगाम में हुए भीषण आतंकी हमले के विरोध में आज पूरी घाटी बंद रही। मंगलवार को हुए इस हमले में कम से कम 26 लोगों की मौत हो गई, जिनमें अधिकांश पर्यटक थे। घटना के बाद कश्मीर के सभी प्रमुख राजनीतिक दलों, सामाजिक संगठनों और व्यापारिक निकायों ने बंद का आह्वान किया, जिसका व्यापक समर्थन मिला।
Whatsapp Channel |
हमले की भयावहता
दक्षिण कश्मीर के अनंतनाग जिले में स्थित पहलगाम के बैसरन मैदान में मंगलवार को आतंकवादियों ने एक भीड़-भाड़ वाले पर्यटन स्थल पर गोलीबारी और विस्फोटकों से हमला किया। इस हमले में 26 लोगों की मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए। पीड़ितों में अधिकतर महाराष्ट्र, गुजरात और दिल्ली के पर्यटक शामिल हैं।
घाटी में व्यापक बंद और विरोध
हमले की निंदा और मृतकों के प्रति संवेदना व्यक्त करने के लिए पूरी कश्मीर घाटी में आज बंद रहा। श्रीनगर सहित अन्य प्रमुख शहरों में दुकानें, व्यावसायिक प्रतिष्ठान और ईंधन स्टेशन बंद रहे। सार्वजनिक परिवहन ठप रहा, हालांकि निजी वाहन सामान्य रूप से चलते रहे।
-» श्रीनगर, सोपोर, बारामुल्ला, हंदवाड़ा और कुपवाड़ा जैसे शहरों में लोगों ने मोमबत्ती जलाकर और तख्तियां लेकर विरोध प्रदर्शन किया।
-» प्रदर्शनकारियों ने “निर्दोष हत्याएं रोको”, “पर्यटक हमारी जान हैं” और “आतंकवाद को खत्म करो” जैसे नारे लगाए।
-» हंदवाड़ा में स्थानीय निवासियों ने कहा, “कश्मीर के लोग पर्यटकों के साथ खड़े हैं।”
राजनीतिक दलों और संगठनों ने की निंदा
नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी), पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी), पीपुल्स कॉन्फ्रेंस और अपनी पार्टी सहित कई राजनीतिक दलों ने इस हमले की कड़ी निंदा की और बंद का समर्थन किया।
महाराष्ट्र के पर्यटकों के लिए मदद की मांग
हमले में महाराष्ट्र के कई पर्यटक भी प्रभावित हुए हैं। डोंबिवली के तीन पर्यटकों की मौत हो गई, जबकि पुणे का एक व्यक्ति घायल है। कई अन्य महाराष्ट्रीय पर्यटक पहलगाम में फंसे हुए हैं।
-» सांसद प्रतिभा धानोरकर ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और केंद्रीय विमानन मंत्री मुरलीधर मोहोल से विशेष विमान की व्यवस्था कर फंसे पर्यटकों को वापस लाने की मांग की। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह को पत्र लिखकर पीड़ित परिवारों को तत्काल मुआवजा देने की अपील की।
काँग्रेस नेता सुभाष धोटे ने की निंदा
काँग्रेस नेता और पूर्व विधायक सुभाष धोटे ने इस हमले को “देश के लिए दुखद और आक्रोशजनक” बताया। उन्होंने कहा, “भारत ऐसे कायराना हमलों से नहीं डरता, लेकिन सरकार को आतंकवाद के खिलाफ सख्त कार्रवाई करनी चाहिए।”
सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद
घटना के बाद पूरी घाटी में सुरक्षा बढ़ा दी गई है, खासकर प्रमुख पर्यटन स्थलों पर। अधिकारियों ने बताया कि आतंकियों को ट्रैक करने के लिए बड़े पैमाने पर ऑपरेशन चलाया जा रहा है।
सोशल मीडिया पर सामने आए कुछ वीडियो
सोशल मीडिया पर प्रसारित एक वीडियो के अनुसार, एक युवती को रोते हुए यह कहते हुए देखा जा सकता है, ‘मैं अपने पति के साथ भेलपुरी खा रही थी, तभी एक आदमी आया और उन्हें गोली मार दी. उसने (बंदूकधारी) कहा कि वह शायद मुसलमान नहीं था और इसीलिए उसने उन्हें गोली मार दी.’ वीडियो में एक अधेड़ उम्र की महिला दिखती हैं, जिनके चेहरे पर खून लगा है, साथ ही एक परेशान युवक को भी देखा जा सकता है. कैमरा लिए कश्मीरी व्यक्ति पीड़ितों को दिलासा देते हैं कि डरने की कोई बात नहीं है और वह उनके साथ रहने वाले हैं.
एक महिला चीखती-चिल्लाती सुनाई पड़ती हैं जो उनके पति को बचा लेने की गुहार लगा रही हैं. कुछ दूरी पर एक युवक खून से लथपथ अवस्था में जमीन पर बेसुध पड़ा दिखता है, और एक स्थानीय घुड़सवार अपने कान से फोन लगाए हुए वहां से गुजरता है. फिर कैमरा घास के मैदान की ओर मुड़ता है, जहां दो से तीन व्यक्ति एक-दूसरे से कुछ दूरी पर अचेत पड़े हुए देखे जा सकते हैं.
‘भाई हमारी मदद करो… मेरे पति को बचा लो, उनकी हालत खराब है,’ एक और युवती अपने पति के बारे में वीडियो शूट करने वाले व्यक्ति से कहती है, जो उन्हें पानी देता है और 49 सेकेंड का वीडियो खत्म हो जाता है.
मंगलवार को दोपहर करीब 2:50 बजे बैसरन घाटी (जो अपने घास के मैदानों के लिए प्रसिद्ध है) में गोलियों की आवाज सुनी गई. पहलगाम बस स्टैंड से सात किलोमीटर की दूरी पर स्थित यह जगह हाइक करने वालों और एडवेंचर पसंद करने वाले सैलानियों के बीच बहुत लोकप्रिय है. इस क्षेत्र में भारतीय सेना, सीआरपीएफ और जम्मू-कश्मीर पुलिस के जवान अक्सर गश्त करते हैं.
पहलगाम का यह हमला न केवल जम्मू-कश्मीर बल्कि पूरे देश के लिए एक बड़ा झटका है। पर्यटकों को निशाना बनाने की इस घटना से कश्मीर के लोगों ने भी आक्रोश जताया है। अब सरकार और सुरक्षा बलों की जिम्मेदारी है कि वे आतंकवादियों को कड़ी सजा दिलाएं और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए ठोस कदम उठाएं।