आज शुक्रवार, 11 अक्टूबर को ताड़ोबा के मोहुर्ली गांव परिसर के मोहुर्ली गेट का उद्घाटन तथा विभिन्न विकास कार्यों का भूमिपूजन आयोजित किया गया था। इस दौरान प्रदेश के वन मंत्री एवं जिले के पालकमंत्री सुधीर मुनगंटीवार प्रमुख रूप से उपस्थित थे। यहां उपस्थित जनसमुदाय और वन प्रशासन के अधिकारी एवं कर्मचारियों को संबोधित करते हुए पालकमंत्री मुनगंटीवार ने विकास कार्यों से संबंधित फाइलों को लंबे समय तक अटकाने वाले अधिकारियों को आड़े हाथों लिया। इस दौरान उन्होंने भाषण देते हुए कहा कि ‘मेरे सरनेम में वार है, वार कैसे करना है मुझे जन्मजात पता है, मुझसे पंगा न लें’।
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मोहुर्ली में आयोजित कार्यक्रम में बड़ी संख्या में लोग उपस्थित थे। गांव के नागरिक, सरपंच, उपसरपंच, भाजपा के पदाधिकारी, कार्यकर्ता, महिलाएं और वन विभाग के अधिकारियों समेत कर्मचारी भी बड़ी संख्या में शामिल हुए। अपने भाषण के दौरान मंत्री मुनगंटीवार ने बफर और कोअर जोन के विकास कार्यों के लिए संबंधितों की तारीफ की। परंतु नागपुर वन विभाग और स्थानीय स्तर पर कुछ वन अधिकारियों की ओर से विकास से संबंधित फाइलों को अनेक दिनों तक अटकाने को लेकर चिंता जताई। साथ ही हरियाणा के चुनावों में भाजपा को मिली जीत का उल्लेख करते हुए उन्होंने संबंधित अधिकारियों को चेताया कि जो अधिकारी आगामी चुनाव में भाजपा की सत्ता नहीं आने की सोच रहे हैं, उन्हें यह याद रखना चाहिये कि हरियाणा की तरह महाराष्ट्र में भी उनकी ही सत्ता स्थापित होने वाली है। किसी भी सूरत में विकास के कार्यों को रोकने वाले अधिकारियों को नहीं बख्शा जाएगा।
साथ उन्होंने अधिकारियों को चेताते हुए कहा कि यह बाघों का जिला है। कुछ अधिकारी फाइलें रोककर रखते हैं, लेकिन बाघ के पंजे का अनुभव उन्हें जल्द ही हो सकता है।
मुनगंटीवार ने सख्त लहजे में कहा, “मेरे सरनेम में ही ‘वार’ है, कैसे वार करना है यह मुझे जन्मजात पता है। मुझसे पंगा मत लेना। मैं जानता हूँ कि वार कैसे किया जाता है। उन्होंने अपने इस सख्त संदेश के माध्यम से अधिकारियों को आगाह किया कि यदि विकास कार्यों में रुकावटें पैदा करने की कोशिश की गई, तो सख्त कार्रवाई से भी वे नहीं चुकेंगे। उनकी यह चेतावनी अब जिले की जनता में चर्चा का विषय बन गई है। समारोह में शामिल नागरिकों ने मंत्री के इस सख्त रुख का समर्थन किया, लेकिन उनके इस बयान के बाद वन प्रशासन के अधिकारियों और कर्मचारियों में खलबली मची हुई है।
“War is in my surname, I was born knowing how to wage it, don’t mess with me” – Forest Minister Sudhir Mungantiwar warns forest officers delaying files.